'लोहे की रॉड से पीट-पीटकर मार डाला', पुलिस क्वार्टर में कुत्तों पर बर्बरता का आरोप

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एक्टिविस्ट साई विग्नेश, जो अलमाइटी एनिमल केयर ट्रस्ट चलाते हैं, ने दावा किया है कि G3 किलपॉक पुलिस क्वार्टर में एक महिला पुलिसकर्मी शीबा और उसके पति ने कई पालतू और आवारा कुत्तों, यहां तक कि पिल्लों तक को बेरहमी से मारा-पीटा और जान से मार डाला.

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इस घटना की शिकायत पुलिस से की गई लेकिन कोई एक्शन नहीं हुआ (Photo- CCTV Footage)

इस घटना की शिकायत पुलिस से की गई लेकिन कोई एक्शन नहीं हुआ (Photo- CCTV Footage)

चेन्नई में एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जहां एक एनिमल राइट्स एक्टिविस्ट ने आरोप लगाया है कि पुलिस क्वार्टर में ही कुत्तों पर बर्बर अत्याचार किए गए, लेकिन अब तक पुलिस ने किसी भी तरह की कार्रवाई नहीं की है.

एक्टिविस्ट साई विग्नेश, जो अलमाइटी एनिमल केयर ट्रस्ट चलाते हैं, ने दावा किया है कि G3 किलपॉक पुलिस क्वार्टर में एक महिला पुलिसकर्मी शीबा और उसके पति ने कई पालतू और आवारा कुत्तों, यहां तक कि पिल्लों तक को बेरहमी से मारा-पीटा और जान से मार डाला.

विग्नेश ने बताया कि उन्होंने इस घटना की शिकायत G3 किलपॉक पुलिस स्टेशन के इंस्पेक्टर से की है और सीसीटीवी फुटेज भी सौंपी है जिसमें साफ दिख रहा है कि आरोपी दंपती कई बार कुत्तों के साथ अमानवीय व्यवहार करते हैं.

उन्होंने कहा, “फुटेज में दिख रहा है कि आरोपी पति एक मादा कुत्ते को लोहे की रॉड से पीट-पीटकर मार डालता है, एक पिल्ले को नाली में फेंक देता है और कई पिल्लों को बोरे में बंद कर दम घोट देता है.”

विग्नेश के मुताबिक, उन्होंने शिकायत दर्ज कराई है लेकिन अब तक एफआईआर दर्ज नहीं की गई, जिससे गंभीर चिंता उत्पन्न हो गई है. उनका कहना है, “यह देरी बेहद चिंताजनक है, खासकर इसलिए क्योंकि आरोपी में से एक सेवारत पुलिसकर्मी है. इससे सबूतों से छेड़छाड़ या गवाहों को डराने की आशंका बढ़ जाती है.”

उन्होंने कहा कि यह मामला भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 325 और पशुओं के प्रति क्रूरता निवारण अधिनियम, 1960 के कई प्रावधानों का स्पष्ट उल्लंघन है. विग्नेश ने तुरंत कार्रवाई की मांग की है ताकि आरोपियों को बचाया न जा सके और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोका जा सके.

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