उत्तर प्रदेश के हरदोई जिले से दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है. शाहाबाद कोतवाली क्षेत्र के मोहल्ला बरूआ बाजार स्थित एक निजी क्लीनिक में इलाज के दौरान चार साल के मासूम की मौत हो गई. परिजनों का आरोप है कि क्लीनिक संचालक डॉक्टर ने गंभीर लापरवाही बरती और सही इलाज करने के बजाय अभद्रता की. घटना के बाद परिजनों ने जमकर हंगामा किया, वहीं डॉक्टर और स्टाफ मौके से फरार हो गए.
जानकारी के अनुसार, बेहटा गोकुल थाना क्षेत्र के जसमई खिरैना गांव निवासी शेर सिंह अपने बेटे को रात में अस.पी. खान नामक निजी डॉक्टर के क्लीनिक पर लेकर पहुंचे थे. बच्चे को अचानक तेज झटके आ रहे थे. परिजनों ने तत्काल इलाज की गुहार लगाई, जिसके बाद डॉक्टर ने केवल ग्लूकोज की बोतल चढ़ा दी. आरोप है कि रात में तबीयत बिगड़ने पर परिजन डॉक्टर को बुलाते रहे, लेकिन वह नहीं आए. सुबह जब डॉक्टर पहुंचे तो इलाज करने के बजाय परिजनों से बहस करने लगे.
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इसी दौरान बच्चे की हालत और बिगड़ गई और मासूम ने क्लीनिक में ही तड़प-तड़पकर दम तोड़ दिया. मासूम की मौत से गुस्साए परिजनों ने हंगामा शुरू कर दिया. हंगामे के दौरान डॉक्टर और क्लीनिक स्टाफ वहां से फरार हो गया. घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस और स्वास्थ्य विभाग की टीम मौके पर पहुंची. जांच के दौरान क्लीनिक से न तो किसी डॉक्टर की डिग्री मिली और न ही कोई पंजीकरण प्रमाणपत्र. स्वास्थ्य विभाग ने तत्काल कार्रवाई करते हुए क्लीनिक को सील कर दिया और नोडल अधिकारी को रिपोर्ट भेज दी.
सीएचसी प्रभारी डॉ. अनुज ने बताया कि उन्हें सूचना मिली कि लापरवाही से एक बच्चे की मौत हुई है. मौके पर पहुंचकर पाया गया कि क्लीनिक में डॉक्टर या स्टाफ मौजूद नहीं था और न ही किसी तरह के वैध दस्तावेज मिले. इस पर क्लीनिक को सील कर दिया गया है. मामले में आगे की कार्रवाई की जा रही है. फिलहाल पुलिस ने परिजनों की तहरीर पर मामला दर्ज कर लिया है और आरोपी डॉक्टर की तलाश शुरू कर दी है.
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