उत्तर प्रदेश के शाहजहांपुर से हाल में मासूम बच्चे की हत्या के बाद आत्महत्या की बड़ी वारदात सामने आई थी. यहां कर्ज में डूबे एक व्यापारी और उसकी पत्नी ने जो किया वह डरा देने वाला था. उन्होंने पहले अपने 3 साल के मासूम बेटे को जहर दिया और फिर दोनों ने फांसी लगाकर जान दे दी. पति पत्नी ने अपने सुसाइड नोट में भारी कर्ज को आत्महत्या का कारण बताया था.
अब इस मामले में शुक्रवार को चार लोगों को गिरफ्तार किया गया है.संकी आनंद, विक्की बग्गा, देवांश खन्ना और एक अज्ञात आरोपी को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया है. पुलिस ने बताया कि इनमें से संकी आनंद का नाम एफआईआर में सूदखोर के रूप में दर्ज है. पुलिस अधीक्षक (एसपी) राजेश द्विवेदी ने कहा,'अगर सूदखोरों के किसी संगठित गिरोह का इसमें शामिल होना पाया जाता है, तो आरोपियों पर गैंगस्टर एक्ट के तहत मुकदमा चलाया जाएगा.'
मृतक की सास द्वारा दर्ज कराई गई शिकायत के अनुसार, सचिन ग्रोवर और उनकी पत्नी शिवानी ने अपने व्यवसाय के लिए तीन आरोपियों से पैसे उधार लिए थे. आरोप है कि ये कर्जदाता अत्यधिक ब्याज वसूल रहे थे और परिवार को परेशान कर रहे थे. एसपी ने कहा कि कर्जदाताओं ने ब्याज न चुकाने पर उन्हें उनके रिश्तेदारों के बीच बदनाम करने की धमकी भी दी थी.
अधिकारी ने आगे कहा,'सचिन के सुसाइड नोट से पता चला है कि उसने अपने भाई मोहित और परिवार के अन्य सदस्यों से भी मदद मांगी थी, लेकिन उन्होंने मदद नहीं की.' आत्महत्या के बाद, पुलिस को एक नोट मिला, जिसमें लिखा था कि दंपति ने अपने 3 साल के बेटे को कोल्ड ड्रिंक में कोई जहरीला पदार्थ मिलाकर पिला दिया था और फिर अलग-अलग कमरों में फांसी लगा ली थी.
द्विवेदी ने बताया कि मामले की जांच जारी है और शुक्रवार को संकी आनंद समेत चार लोगों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया है. 2021 में, जिले में ही सूदखोरों के उत्पीड़न के कारण एक स्थानीय व्यापारी अखिलेश गुप्ता, उनकी पत्नी और दो बच्चों ने आत्महत्या कर ली थी. पुलिस ने तब गैंगस्टर एक्ट के तहत कार्रवाई की थी.
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