याचिका में भारत सरकार को प्रभावी राजनयिक हस्तक्षेप की सुविधा प्रदान करने के लिए अदालती आदेश देने की मांग की गई है. यमन में केरल की नर्स निमिषा प्रिया की निर्धारित फांसी से 6 दिन पहले मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा. सेव निमिषा प्रिया इंटरनेशनल एक्शन काउंसिल नामक संगठन ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है.
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सुप्रीम कोर्ट
यमन में फांसी की सजा की प्रतीक्षा कर रही केरल की नर्स निमिषा प्रिया के लिए सहायता मांगने के लिए सर्वोच्च न्यायालय में दाखिल जनहित याचिका पर सोमवार को सुनवाई होगी. निमिषा प्रिया को उसके यौन उत्पीड़न करने वाले की हत्या के जुर्म में यमन में फांसी दी जानी है.
उसके लिए फांसी से बचने का एकमात्र रास्ता उस देश के कानून (शरिया कानून) के अनुसार मृतक के परिवार को रक्तशुल्क यानी ब्लड मनी देकर माफी मांगना है. अदालत में उसकी पैरवी करने वाले वकील से पता चला है कि प्रथम अपील अदालत ने उसकी अपील खारिज करते हुए भी ब्लड मनी का विकल्प खुला रखा है.
याचिका में भारत सरकार को प्रभावी राजनयिक हस्तक्षेप की सुविधा प्रदान करने के लिए अदालती आदेश देने की मांग की गई है. यमन में केरल की नर्स निमिषा प्रिया की निर्धारित फांसी से 6 दिन पहले मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा. सेव निमिषा प्रिया इंटरनेशनल एक्शन काउंसिल नामक संगठन ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है. निमिषा को बचाने के लिए केंद्र से राजनयिक हस्तक्षेप का आग्रह किया गया है. निमिषा को 16 जुलाई को यमन में हत्या के जुर्म में फांसी दी जानी है.
सुप्रीम कोर्ट पहुंची याचिका के मुताबिक भारत सरकार निमिषा को मृत्युदंड से बचाने और मृतक के परिवार को रक्तदान राशि का भुगतान करने में मदद करने के लिए राजनयिक माध्यम खोलने का निर्देश देने की मांग की गई है. सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को मामले की सुनवाई का सुझाव देते हुए वकील ने आपत्ति जताई और कहा कि राजनयिक चैनल को समय चाहिए. हमने पहले भी केंद्र सरकार से संपर्क किया था.
निमिषा को मौत की सज़ा क्यों सुनाई गई?
निमिषा 2008 में यमन गई थीं और 2015 में अपना खुद का क्लिनिक खोलने से पहले कई अस्पतालों में काम किया, जिसमें तलाल अब्दो मेहदी उसका स्थानीय पार्टनर था. निमिषा परिवार के मुताबिक, विवाद तब शुरू हुआ जब उसने निमिषा पर धन के गबन का आरोप लगाया. कथित तौर पर मेहदी के पास मौजूद अपना पासपोर्ट वापस पाने के लिए उसने उसे बेहोश करने के लिए बेहोश करने वाली दवा का इंजेक्शन लगाया. हालांकि, कथित तौर पर ओवरडोज के कारण उसकी मौत हो गई. निमिषा को यमन से भागने की कोशिश करते वक्त गिरफ्तार किया गया था.
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