आगरा में ताजमहल के पश्चिमी गेट पार्किंग के पास हवाई फायरिंग के मामले में पुलिस ने एक आरोपी को लखनऊ से गिरफ्तार किया है. इस संबंध में एडिशनल डीसीपी आदित्य ने बताया कि आरोपी को आगरा पुलिस की टीम लखनऊ से हिरासत में लेकर वापस ला रही है. जांच में यह भी सामने आया है कि आरोपी एक एलआईसी एजेंट है. उसके परिजनों ने बताया है कि पिछले 22 साल से वह मानसिक बीमारी से ग्रसित है.
मानसिक रोगी, फिर भी हथियार?
आरोपी के परिजनों के मुताबिक, वह लंबे समय से मानसिक रोगी है और लखनऊ के नूर मंजिल साइकेट्रिक सेंटर में उसका इलाज चल रहा है. ऐसे में सबसे बड़ा सवाल यह उठ रहा है कि जब वह मानसिक रोगी है, तो उसके पास लाइसेंसी हथियार कैसे आया? इस पर एडिशनल डीसीपी ने कहा कि हथियार का लाइसेंस निरस्त करने की कार्यवाही भी की जाएगी.
पश्चिमी गेट पर बहस, फिर तीन राउंड फायरिंग
मामला सोमवार सुबह का है. मथुरा नंबर की एक कार ताजमहल के पश्चिमी गेट पार्किंग के पास बैरिकेडिंग तक पहुंच गई. पुलिसकर्मियों ने कार सवार को अंदर जाने से रोका और समझाया कि आगे वाहन प्रतिबंधित क्षेत्र है. इस पर कार सवार बहस करने लगा. बहस के बाद उसने कार मोड़ ली, लेकिन तभी कार में मौजूद एक व्यक्ति ने अचानक तीन राउंड हवाई फायरिंग कर दी. फायरिंग के बाद आरोपी वहां से फरार हो गया. इस घटना से मौके पर हड़कंप मच गया.
CCTV फुटेज से सुलझी गुत्थी
फायरिंग के बाद पुलिस ने तुरंत घटनास्थल के आस-पास लगे सीसीटीवी फुटेज खंगाले. फुटेज से कार का नंबर ट्रेस किया गया और कार को कब्जे में ले लिया गया. जांच में सामने आया कि यह कार वृंदावन से बुक की गई थी. कार ड्राइवर गोवर्धन निवासी निकला, जिसने पूछताछ में बताया कि कार पंकज नाम के व्यक्ति ने बुक की थी. वही पंकज पार्किंग के पास फायरिंग कर फरार हो गया था.
दूसरी कार बुक कर भागा आरोपी
वृंदावन से आई कार को एत्माद्दौला में छोड़ने के बाद आरोपी ने दूसरी कार बुक की और आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे होते हुए फरार हो गया. हालांकि, पुलिस ने दूसरी कार के नंबर को भी ट्रेस कर लिया और लखनऊ से आरोपी को धर दबोचा.